जय श्री राम | ॐ सिया रामाय नमः | जय हनुमान
🕉️ दरबार में सुबह-शाम नि:शुल्क ऑनलाइन सत्संग होता है   |   हर मंगलवार और शनिवार को "संपूर्ण हनुमान भक्ति विधि" का पाठ किया जाता है   |   यहाँ सच्ची भक्ति और साधना का महत्व सिखाया जाता है   |   गुरु सानिध्य में ही ईश्वर प्राप्ति संभव है   |   श्री बजरंग दास जी को साक्षात हनुमान जी के दर्शन हुए 🕉️
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राम लला जी की आरती

आरती कीजै रामचन्द्र जी की।
हरि-हरि दुष्टदलन सीतापति जी की॥

पहली आरती पुष्पन की माला।
काली नाग नाथ लाये गोपाला॥
(आरती कीजै रामचन्द्र जी की...)

दूसरी आरती देवकी नन्दन।
भक्त उबारन कंस निकन्दन॥
(आरती कीजै रामचन्द्र जी की...)

तीसरी आरती त्रिभुवन मोहे।
रत्‍‌न सिंहासन सीता रामजी सोहे॥
(आरती कीजै रामचन्द्र जी की...)

चौथी आरती चहुं युग पूजा।
देव निरंजन स्वामी और न दूजा॥
(आरती कीजै रामचन्द्र जी की...)

पांचवीं आरती राम को भावे।
रामजी का यश नामदेव जी गावें॥
(आरती कीजै रामचन्द्र जी की...)

आरती कीजै रामचन्द्र जी की।
हरि-हरि दुष्टदलन सीतापति जी की॥


॥ इति श्री राम आरती समाप्त ॥